जीवन में कतिपय उपलब्धियाँ अवश्य रही होंगी परन्तु मैं अपनी उन उपलब्धियों को उपलब्धि नहीं समझता। इसे ही अपनी उपलब्धि मानकर आगे बढ़ना चाहता हूँ। युवाओं के नाम संदेशः हमारे पहाड़ों की तरह हमारे जीवन मूल्य भी शाश्वत हैं। उनकी रक्षा करते हुए जीवन में उत्कृष्टता के साथ सफलता का प्रयास करें।
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ज्वाला दत्त तिवारी
डिप्टी डिविजनल वार्डन, सिविल डिफेंस। सिविल डिफेंस के कार्यों के दौरान पदक से सम्मानित। सह सचिव, नेहरू बाल समिति, दिल्ली। उत्तरांचल की विभिन्न संस्थाओं से सम्बद्ध। डिप्टी डायरेक्टर, विजिलेंस, श्रम मंत्रालय (वसूली अधिकारी) .डी. आर. टी., वित्त मंत्रालय।
Read Moreविवेकानन्द ढौडियाल
आई.ए.एस. में चयन, मजिस्ट्रेट, रामपुर, उ.प्र., सेटिलमेंट ऑफिसर और डिप्टी सेक्रेटरी एण्ड डायरेक्टर, गजेटियर, राजस्थान सरकार। अण्डर सेक्रेटरी, डिफेंस प्रोडक्सन विभाग। मास्को स्थित भारतीय दूतावास में प्रथम सचिव। जयपुर और अजमेर में जिलाधिकारी।टी प्रोमोशन काउंसिल, लंदन में डायरेक्टर। आयरिश टी काउंसिल के उपाध्यक्ष। 1985 में योजना आयोग के परामर्शदाता। 1991 में सेक्रेटरी पार्लियामेंट्री अफेयर्स पद से सेवानिवृत्त तथा 1994 तक केन्द्रीय प्रशासनिक न्यायाधिरण के सदस्य रहे।
Read Moreगजेन्द्र चन्द्र ठाकुर
आयकर विभाग को इसलिए छोड़ा था ताकि ज्यादा साफ-सुथरा कैरियर अपना सकूँ। बदले पेशे में काम करने का जोखिम भी लिया। मैसर्स बजाज इलैक्ट्रिकल्स में ब्रांच मैनेजर से कार्य प्रारम्भ कर मानव संसाधन तथा प्रशासन विभाग के प्रमुख के पद तक पहुँचा। वर्तमान में बजाज ग्रुप की एक कम्पनी के उपाध्यक्ष पद पर कार्यरत।
Read Moreरघुनन्दन सिंह टोलिया
उत्तराखण्ड राज्य के गठन में कौशिक कमेटी रिपोर्ट को सफलता पूर्वक पूर्ण कर, भारत सरकार को प्रेषण। सिविल सेवा में 1971 में प्रवेश करने पर यह निर्णय किया था कि उत्तराखण्ड व उत्तर प्रदेश के प्रशासनिक इतिहास में जो कुछ धुंधलापन है उसे साफ करने का प्रयास करूंगा। 1815 से 1858 तक काफी सीमा तक व्यवस्थित कर सका इसे। 1859 से 1884 तक अभी और व्यवस्थित करना है। सेवा में आने के बाद उत्तराखण्ड के आर्थिक विकास में योगदान करने की सेवा पर्यन्त (32 वर्ष) कोशिश। आज यह दुग्ध विकास, चाय विकास, जड़ी-बूटी व सुगंध पौध के क्षेत्र में कुछ दिखाई भी पड़ता है। अग्रेतर जैविक कृषि, बांस व रिंगाल तथा रेशा को शेष सेवा काल व सेवानिवृत्ति के उपरान्त एक मिशन के रूप में लेने की इच्छा।जन सहभागिता के क्षेत्र में थोड़ी बहुत सफलता।
Read Moreबहादुर राम टम्टा
जीवन में नित्य नई चुनौतियों से संघर्ष, क्लर्क के पद से त्यागपत्र देकर पटवारी, पटवारी पद से त्यागपत्र देकर प्रतियोगिता के जरिए पी.सी.एस., पी.सी.एस. से त्यागपत्र देकर भारतीय सीमान्त प्रशासनिक सेवा में शामिल, जो बाद में भारतीय प्रशासनिक सेवा में विलीन कर दी गयी। आई.ए.एस. से त्यागपत्र देकर उत्तराखण्ड राज्य के लिए संघर्ष व राज्यप्राप्ति।
Read Moreकृष्ण आर्य
अपने लम्बे और बेदाग प्रशासनिक अनुभव के कारण उत्तरांचल के दूसरे लोक सेवा अध्यक्ष बनाए गए। त्रिपुरा सरकार में प्रिंसिपल सेक्रेटरी पद पर रहे। कृषि मंत्रालय (भारत सरकार) में संयुक्त सचिव रहे. कृषि, उद्योग, परिवहन, ग्रामीण विकास एवं पंचायत, पर्यटन, सांस्कृतिक कार्य एवं प्रचार आदि मंत्रालयों व चकमा शरणार्थी राहत व पुनर्वास, त्रिपुरा सरकार आदि में कमिश्नर व सचिव स्तरीय पदों पर कार्य किया। मणिपुर के कई जिलों में जिलाधिकारी भी रहे।
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